न्यूजलाइन नेटवर्क – चितरंगी संवाददाता – आदर्श तिवारी

चितरंगी/ सिंगरौली। सिंगरौली जिले के चितरंगी जनपद अंतर्गत जेसीबी मशीन से किया जा रहा था मिट्टी ढीला, पंच ने लगाया अनियमितता का आरोप, सरपंच ने दी सफाई,बता दें कि ग्राम पंचायत बहेरी में मनरेगा योजना के अंतर्गत निर्माणाधीन अमृत सरोवर तालाब को लेकर विवाद खड़ा हो गया है। पंच अंकुश चतुर्वेदी ने निर्माण कार्य में अनियमितता और मनरेगा नियमों के उल्लंघन का आरोप लगाते हुए कहा कि मजदूरों की जगह जेसीबी से लेवलर, कठोर मिट्टी खुदाई में मशीनों का उपयोग कर मिट्टी को ढीला किया जा रहा है, जिससे मनरेगा श्रमिकों का हक मारा जा रहा है।
उन्होंने यह भी दावा किया कि जब उन्होंने इस विषय पर आपत्ति जताई तो उन्हें धमकाया गया और मारपीट की गई। उन्होंने इस संबंध में कलेक्टर को आवेदन पत्र सौंपते हुए दोषियों पर कार्रवाई की मांग की है। ग्राम पंचायत सरपंच ने पंच के आरोपों को निराधार बताते हुए कहा कि अमृत सरोवर के निर्माण के प्रारंभिक चरण में उच्च मिट्टी को ढीला मशीनों से की गई, जो स्वीकृत एस्टिमेट के अनुरूप है। शेष कार्य पंजीकृत मनरेगा श्रमिकों से कराया जा रहा है। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि पंचायत में किसी भी कार्य को ठेकेदारी प्रथा के तहत नहीं किया जा रहा है और मारपीट के आरोपों की सच्चाई नहीं है। सरपंच के अनुसार, पंच ने स्वयं बाद में माना कि उनके साथ कोई मारपीट नहीं हुई।
जनपद पंचायत चितरंगी के सीईओ ने बताया कि मिट्टी को ढीला करने के लिए जेसीबी मशीन का उपयोग किया गया, जो कि स्वीकृत प्रावधानों के तहत वैध है। अमृत सरोवर योजना केंद्र सरकार की एक महत्त्वाकांक्षी पहल है, जिसका उद्देश्य जल संरक्षण को बढ़ावा देना है। इस योजना की पारदर्शिता और श्रमिकों के अधिकारों की रक्षा सुनिश्चित करना अत्यंत आवश्यक है।