लोकसभा ने राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली कानून – विशेष प्रावधान दूसरा संशोधन विधेयक 2023 पारित कर दिया है। यह विधेयक राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली कानून – विशेष प्रावधान दूसरा अधिनियम 2011 में संशोधन के बारे में हैं। यह कानून दिल्ली में निर्दिष्ट व्यक्तियों द्वारा अनाधिकृत विकास और अतिक्रमण को दंडात्मक कार्रवाई से बचाता है। इनमें झुग्गी-झोपड़ी में रहने वाले, फेरीवाले, अनधिकृत कॉलोनियां, स्कूल, धार्मिक तथा सांस्कृतिक संस्थान और कृषि गोदाम शामिल हैं। विधेयक का उद्देश्य राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली कानून (विशेष प्रावधान) दूसरे अधिनियम की वैधता को 1 जनवरी, 2024 से 31 दिसंबर, 2026 तक 3 साल की अवधि के लिए विस्तार प्रदान करना है। यह अधिनियम शुरू में 31 दिसंबर 2014 तक वैध था। बाद के संशोधनों के साथ इसे 31 दिसंबर 2023 तक बढ़ा दिया गया।
केंद्रीय आवास और शहरी मामलों के मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने विधेयक पर संक्षिप्त चर्चा का जवाब देते हुए, दिल्ली में सामान्य लोगों की आवास की आवश्यकता को पूरा करने के लिए केंद्र सरकार के उपायों पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि दिल्ली मास्टर प्लान 2041 को अंतिम रूप दिया जा रहा है। इसमें झुग्गी-झोपड़ी क्लस्टर, अनधिकृत कॉलोनियों जैसे अनधिकृत विकास के उपायों को शामिल किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि अनधिकृत विकास से निपटने की प्रक्रिया में अधिक समय लगेगा, इसलिए, राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली में कुछ प्रकार के अनधिकृत विकास को दंडात्मक कार्रवाई से दी गई सुरक्षा जारी रखने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि सरकार ने मास्टर प्लान 2041 के अंतर्गत 50 लाख झुग्गीवासियों को और 70 लाख लोगों को लैंड पूलिंग स्कीम के जरिए मकान मुहैया कराने का लक्ष्य रखा है। भाजपा के रमेश बिधूड़ी तथा परवेश साहिब सिंह और शिवसेना के राहुल शेवाले ने विधेयक का समर्थन किया।