न्यूज़लाइन नेटवर्क की कलम से – राजनीतिक विश्लेषण : कांग्रेस की तैयार हो रही चुनावी गारंटी

न्यूजलाइन नेटवर्क , डेस्क ब्यूरो

नई दिल्ली : कांग्रेस और उसकी सहयोगी पार्टियों की चुनावी तैयारी शुरू हो गई है। अगले चार महीने में चार राज्यों में विधानसभा चुनाव होने वाले हैं। ज्यादा संभावना है कि इस बार तीन राज्यों के चुनाव एक साथ हों। पहले महाराष्ट्र, हरियाणा और झारखंड के चुनाव अलग अलग होते थे। लेकिन इस बार जानकार सूत्रों का कहना है कि अक्टूबर में तीनों राज्यों का चुनाव एक साथ हो सकता है। उससे पहले सितंबर में जम्मू कश्मीर विधानसभा का चुनाव होने की संभावना है। सो, कांग्रेस और उसके सहयोगी चुनावी गारंटी की तैयारी कर रहे हैं। जिस तरह से महाराष्ट्र में भाजपा, शिव सेना और एनसीपी की सरकार ने आखिरी बजट में खजाना खोल है और मुफ्त की रेवड़ियों का ढेर लगा दिया है उसे देखते हुए विपक्ष को भी बहुत कुछ मुफ्त देने का वादा करना होगा।

महाराष्ट्र की एनडीए सरकार ने वयस्क महिलाओं को हर महीन डेढ़ हजार रुपए नकद देने का फैसला किया है। इसके अलावा तीन सिलेंडर मुफ्त देने का भी वादा किया गया है। किसानों को प्रति हेक्टेयेर खेती के लिए पांच हजार रुपए का बोनस दिया जाएगा। दुध पर प्रति लीटर पांच रुपए की सब्सिडी मिलेगी और कर्ज माफी की जाएगी। इसके अलावा भी और बहुत कुछ महाराष्ट्र की सरकार ने बजट में घोषित कर दिया है। इसके अलावा चुनावी घोषणा में और भी कई चीजों का वादा किया जाएगा। तभी विपक्षी गठबंधन के सामने कड़ा मुकाबला हो गया है।

बताया जा रहा है कि झारखंड सरकार वयस्क महिलाओं को एक हजार रुपया महीना देने का नियम बनाने जा रही है और चुनाव से पहले इसकी पहली किश्त महिलाओं के खाते में पहुंच जाएगी। अबुआ स्वास्थ्य योजना के तहत इलाज खर्च की सीमा बढ़ाई जा रही है। जानकार सूत्रों का कहना है कि लोकसभा चुनाव में जिस तरह से कांग्रेस ने गारंटी दी थी और राहुल गांधी व दूसरे विपक्षी नेताओं ने लोगों के खाते में खटाखट पैसे जाने की बात कही थी उसको इस बार राज्यों के चुनाव में विस्तार दिया जाएगा।

बताया जा रहा है कि कांग्रेस अपनी गारंटियों की सूची बना रही है। इसके बारे में शरद पवार, उद्धव ठाकरे और हेमंत सोरेन से भी बात की जाएगी। इस बात की संभावना कम है कि कोई साझा घोषणापत्र जारी होगा। सभी पार्टियां अपना अपना घोषणापत्र जारी करेंगी, जिसमें राज्यों के हिसाब से कुछ गारंटियों की घोषणा होगी। लेकिन हर साल गरीब महिलाओं को एक लाख रुपए देने की योजना की घोषणा हर जगह होगी। इसका मतलब है कि लोकसभा के प्रचार की तरह इस बार राज्यों के चुनाव में भी हर महीने साढ़े आठ हजार रुपए खटाखट लोगों के खाते में जाने की बात होगी। इसी तरह 21 से 25 साल के डिग्री या डिप्लोमाधारी युवाओं को एप्रेंटिसशिप के नाम पर हर साल एक लाख रुपए देने की योजना की भी घोषणा होगी। इसके अलावा मुफ्त रसोई गैस सिलेंडर के साथ साथ मुफ्त में दो सौ यूनिट तक बिजली देने की गारंटी भी दी जाएगी। महाराष्ट्र और हरियाणा दोनों खेती किसानी वाले राज्य हैं। इसलिए दोनों राज्यों में किसानों के लिए कुछ बड़ी घोषणाएं होंगी। सौजन्य।

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