एक परिवार में पिता का महत्व बताते हुए कवि विजय कुमार कोसले की कविता शीर्षक “अनुभवी पिता” पढ़े जरूर

…एक परिवार में पिता का महत्व बताते हुए कवि विजय कुमार कोसले की कविता शीर्षक “अनुभवी पिता” पढ़े जरूर…

 *अनुभवी पिता* 

अच्छे-बुरे का पिता को होते
सब गहराई से ज्ञान,
रखते हैं वो हर सदस्य का
बहुत अच्छे से ध्यान।

सुख दुःख में किसी अपने का
न छोड़ें कभी साथ,
घर की हर जिम्मेदारी उठाना
होते हैं उनके हाथ।

हरपल देते वो संतानों को
एक नेक सच्चा राय,
खुद अपनी कई कष्ट छिपाकर
नित चंगा भला बताय।

परिवार में तकलीफ़ आने पर
खुद दुःख सारे सहते,
चाह कर संतानों को दिल से
कभी बुरा भला न कहते।

बच्चों के नेक भविष्य खातिर
अपना जी जान लगाते,
नाना प्रकार की शिक्षा देकर
उनके विश्वास बढाते।

गांव से आए तो मेवा मिठाई
वो लाएं अपने घर,
हर बच्चों को मिठाई देकर
लुटाते प्यार जी भर।

जीवन में एक अनुभवी पिता 
   कभी न धोखा खाएं,

हर संतान की भविष्य बनाकर
वो सदैव पूजे जाए।

लेखक/कवि
“””””””””””””””””’
विजय कुमार कोसले
नाचनपाली,लेन्ध्रा छोटे
सारंगढ़ , छत्तीसगढ़ ।
मो.6267875476

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