न्यूजलाइन नेटवर्क – ब्यूरो रिपोर्ट

सिंगरौली/ मध्य प्रदेश। कोल खदानों के विस्तार के लिए मोरवा विस्थापन को लेकर बुधवार को विस्थापन मंचों के साथ एनसीएल प्रबंधन की एक अहम बैठक आयोजित की गई। जिसमें एनसीएल प्रबंधन ने प्रमुख विस्थापन मंचों के कई मुद्दों पर सहमति जाता दी है। इसके बाद सिंगरौली विस्थापन मंच समेत सिंगरौली पुनर्स्थापना मंच के पदाधिकारी बहुत हद तक संतुष्ट दिखे। इसके विपरीत शासकीय भूमि पर बसे लोगों पर सस्पेंस अब भी बरकरार है। गौरतलब है कि आज की बैठक में विस्थापन मंचों द्वारा शासकीय भूमि पर पट्टा विहीन पात्र विस्थापितों को 15 लाख आर एंड आर राशि के रूप में दिए जाने की मांग रखी गई थी। जिसके जवाब में एनसीएल प्रबंधन ने बीते 09 अप्रैल एवं 22 अप्रैल को कलेक्टर की अध्यक्षता में हुई बैठक का हवाला देते हुए बताया कि उक्त बैठक में गहन विचार विमर्श उपरांत देय राशि का निर्णय लेकर अवगत किया गया है। अतः इस विषय वस्तु पर अगला निर्णय प्रशासन के मार्गदर्शन पर ही निर्भर होगा।
एनसीएल सभागार में हुई बैठक के दौरान उपबंध हटाने समेत क्लब के मुद्दे पर राजस्व ग्राम अथवा क्लस्टर में स्थित अलग-अलग प्रकृति के भूखंडों के मूल्य की गणना अलग-अलग की जाने पर स्वीकृति बनी। इसके साथ ही भवन के प्रतिकार एवं परिवार के मुखिया को मिलने वाली 15 लाख आर एंड आर पात्रता के एवरेज की राशि अग्रिम भुगतान के रूप में भी दी जाएगी। वहीं अब व्यावसायिक भवनों के मूल्य पर टाइल्स समेत फाल्स सीलिंग आदि भी जोड़ा जाएगा। वहीं मोरवा बाजार को बसाने के लिए भूमि उपलब्ध करने समेत किरायेदारों को मिलने वाले लाभों पर भी गहन चर्चा की गई है। आज की बैठक उपरांत सीएमडी बी साईंराम समेत एनसीएल प्रबंधन व विस्थापन मंचों के मौजूद सदस्यों ने मूमेंट्स आफ मिनिट्स पर हस्ताक्षर किये। इसके उपरांत उन्हें इसकी कॉपी मोहिया करा दी गई है।